कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने शुक्रवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर फिर निशाना साधा है। राहुल गांधी ने नोटबंदी को भारत के इतिहास का सबसे बड़ा घोटाला करार दिया है। उन्होंने कहा कि मैं नोटबंदी पर संसद में बोलना चाहता हूं और वहां सब कुछ बताउंगा। मैं जब संसद में बोलूंगा तो मोदीजी बैठ नहीं पाएंगे। जब मैं संसद में बोलूंगा तो भूकंप आ जाएगा। मैं बोलूंगा तो सरकार सुन नहीं पाएगी।
सदन के बाहर उन्होंने मोदी सरकार पर हमला करते हुए कहा कि हम पिछले एक महीने से नोटबंदी पर बात करने की कोशिश कर रहे हैं। हम चाहते हैं कि दूध का दूध और पानी का पानी हो जाए। प्रधानमंत्री पूरे देश में भाषण दे रहे हैं मगर लोकसभा में आने से डरते हैं। पीएम मोदी सदन में आने से डरते हैं। उन्हें इतनी घबराहट क्यों हो रही है?
संसद के शीतकालीन सत्र को अब खत्म होने में चार ही दिन बचे हैं। नोटबंदी पर चर्चा को लेकर सत्ता पक्षा और विपक्ष के बीच घमासान जारी है। संसद की कार्यवाही बार-बार स्थगित हो रही है।बता दें कि नोटबंदी पर प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी पर विपक्षी पार्टियों ने पहले ही हमला तेज कर रखा है। नोटबंदी के एक माह पूरा होने पर विपक्षी पार्टियों ने गुरुवार को काला दिवस मनाया था।
संसद परिसर में महात्मा गांधी की प्रतिमा के पास प्रदर्शन का नेतृत्व करने वाले कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने कहा था कि यह कोई साहसिक फैसला नहीं है। यह बेवकूफी भरा फैसला है जो बिना सोचे विचारे उठाया गया है। इसने गरीबों, किसानों और दिहाड़ी मजदूरों को तबाह कर दिया है।
कांग्रेस उपाध्यक्ष ने कहा कि मोदी नोटबंदी पर अपना विमर्श बदल रहे हैं। प्रधानमंत्री एक चीज से भाग कर दूसरी चीज पर, काला धन से जाली नोट और वहां से कैशलेस पर जा रहे हैं। वह काले धन से आतंकवाद पर छलांग लगाते हैं और वहां से जाली नोट पर और अब कैशलेस अर्थव्यवस्था पर छलांग लगाते हैं। हम उन्हें संसद के अंदर नहीं भागने देंगे। राहुल ने कहा कि हम (संसद में) कोई फैसला चाहते हैं।