अतुल्य भारत

Incredible India – Most Foreign Tourists In Southern State

अतुल्य भारत की श्रृंख्ला में आज-भारत का दक्षिण का राज्य तमिलनाडु। हाल ही में तमिलनाडु अपनी राजनैतिक गतिविधियों के कारण चर्चा में रहा है। पर क्या आप जानते हैं कि ये राज्य सबसे अधिक विदेशी पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करता है? पुरातत्व विभाग ने तमिलनाडु राज्य में कईं ऐसे स्थानों की खोज की है जहाँ 3800 बरसों से भी …

Read More »

Longest Railway Platform In The World, Largest Lakes Of India

आज हम जानेंगे भारत की सबसे बड़ी झीलों व भारत के ही नहीं बल्कि विश्व के सबसे बड़े रेलवे प्लेटफ़ार्म के बारे में। झीलों की बात करें तो जिक्र आता है ओड़ीशा की चिल्का झील का। यह झीलखारे पानी की सबसे बड़ी झील है व बंगाल की खाड़ी में जा कर मिलती है। चिल्का झील पुरी, खुर्द व गंजम जिलों …

Read More »

बदलते भारत की नयी तस्वीर 'अतुल्य भारत' का सच

लिखने से पहले बहुत सोचा कि कैसे शुरु करुं इस बदलते भारत की तस्वीर को, सोचते सोचते कवि प्रदीप की वह रचना याद आ गयी जिसको बहुत पहले पढ़ा था, और अब उस की कुछ लाइनें चरितार्थ होती दिख रही है’ ‘देख तेरे संसार की हालत,क्या हो गयी भगवान’ वास्तव में संसार रुपी भारत बदलता दिख रहा है, उसी तरह …

Read More »

बदलते भारत की नयी तस्वीर ‘अतुल्य भारत’ का सच

लिखने से पहले बहुत सोचा कि कैसे शुरु करुं इस बदलते भारत की तस्वीर को, सोचते सोचते कवि प्रदीप की वह रचना याद आ गयी जिसको बहुत पहले पढ़ा था, और अब उस की कुछ लाइनें चरितार्थ होती दिख रही है’ ‘देख तेरे संसार की हालत,क्या हो गयी भगवान’ वास्तव में संसार रुपी भारत बदलता दिख रहा है, उसी तरह …

Read More »

दिल्ली में नशेड़ियों की बढ़ती तदात

हमारी दिल्ली तुम्हारी दिल्ली हम सब की प्यारी दिल्ली यह जुम्ला कहना कितना असान हैं। पर जब हम हकीक्त के पन्ने पलट कर देखें तो पता चलता है कि हम सब के दिल मे कितना प्यार है अपनी दिल्ली के लिए लोगो के अन्दर प्यार है पर प्यार का इजहार करने का तरीका अफशोस जनक है यह सुनकर कुछ अजीब …

Read More »

दिल्ली की सड़को पर दो करवट सोती रातें

ठंडक  की सर्द रातों मे जब हम अपने घरो में गर्म बिस्तरॉ की आगोस में होते हैं। तब कई बदनसीब ऐसे भी होते है जिन्हें एक चादर तक नसीब नही होती है। उन्हें सिर्फ़ एक उम्मीद होती है की वो कल का सूरज देख सकेंगे। भारत में 42 करोड़ से ज़्यादा लोग अपनी रातें खुले में बिताते हैं जिनमे से 1 करोड़ से …

Read More »

नारी बिन विज्ञापन न होय…

नारी जिसे पहले के समय में देवी माना जाता था. और वह लक्ष्मी का स्वरूप होती थी जिनके बिना कोई भी अनुष्ठान पूरा नही होता था. वही नारी आज ऐसी हो गयी है. जिसको पहचानना मुश्किल होता जा रहा है. आज का दौर तेजी से बदलते नैतिक मूल्यों का है. इस युग में कल तक जो कुछ वर्जनाओं के घेरे …

Read More »

भारतीय रिज़र्व बैंक:एक लम्‍बी और कठिन यात्रा

भारतीय रिज़र्व बैंक एक ही दिन में देश भर के बैंकों का बैंक नहीं बना है। क्रमिक विकास, एकीकरण, नीतिगत बदलावों और सुधारों की एक लम्‍बी और कठिन यात्रा रही है, जिसने भारतीय रिज़र्व बैंक को एक अलग संस्‍थान के रूप में पहचान दी है। रिज़र्व बैंक की स्‍थापना के लिए सबसे पहले जनवरी, 1927 में एक विधेयक पेश किया …

Read More »

आखिर क्या हैं गणतंत्र दिवस के सही मायने?

पिछले एक वर्ष में भारत बदला है। गणतंत्र दिवस आने वाला है। पर आखिर क्या हैं गणतंत्र दिवस के सही मायने? क्या आज का भारत गणतंत्र है? क्या यह वही भारत है जिसे ध्यान में  रखकर संविधान लिखा गया होगा? इस समय स्कूलों में दाखिले की होड़ लगी हुई है। किराने की दुकान पर एक महाशय फ़ोन पर बात कर …

Read More »

नेहरू राज से ही करप्शन का साज-जनता पर गाज,नेताओं को नाज

यूं भूखा होना कोई बुरी बात नहीं है, दुनिया में सब भूखे होते हैं, कोई अधिकार और लिप्सा का,कोई प्रतिष्ठा का,कोई आदर्शों का, और कोई धन का भूखा होता है,ऐसे लोग अहिंसक कहलाते हैं, मांस  नहीं खाते, मुद्रा खाते हैं-दुष्यंत कुमार चौतरफा घपलों-घोटालों का दौर है। तमाम चोर के विदेश में जमा कालेधन का शोर है।कोई सियासतदां करता नहीं गौर है। जनता बोर है। छिनरहा कोर है दिखता नहीं कोई छोर है। कहीं नहीं कोई ठौर है। अब बसंतकी नहीं भोर है। मस्ती में नाचता नहीं मोर है। हिंदुस्तान पर घटा घनघोरहै। लोकतंत्र का दुखता …

Read More »